धनबाद। चार राज्यों में अपने उल्टे – सीधे कारनामो के लिए बहुचर्चित परमेश्वर राय उर्फ मैनेजर राय पर खनन विभाग ने शुक्रवार को एक और एफआईआर दर्ज कराया है। विभाग ने इस बार ऐसा शिकंजा कसा कि श्री राय का ना केवल भट्टा हमेशा के लिए बंद हो गया बल्कि उन्हें 10 साल की सजा हो सकती है।
विभाग ने अपनी प्राथमिकी में उन्हें आदतन चोर करार किया है। एफआइआर में कहा गया हैकि पूर्व में जब 10 सितंबर, 21 को उनके यहां कोयले की जांच हुई थी तो भारी मात्रा में कोयला पाया गया था। उनके भट्ठा की डीलरशिप का लाइसेंस रद्द था तो फिर कैसे भट्ठा चल रहा था। 26 अक्टूबर को जांच के लिए विभाग जांच के लिए पहुंचा तो एक तो छह चिमनी से धुआं निकल रहा था दूसरा वहां पहले से ज्यादा कोयले का स्टॉक पाया गया यानी चोरी के साथ हेराफरी भी की जा रही थी। विभाग ने तभी तो 379 के साथ 420 के तहत भी प्राथमिकी दर्ज करायी है।
इन धाराओं के तहत हुई है प्राथमिकी
मैनेजर राय पर झारखंड खनिज के अधिनियम के रूल 2017 के नियम 13, एमएम (डीआर) एक्ट 1957 की धारा 21, आइपीसी की धारा 379,412, 413,414,420 के तहत प्राथमिकी दर्ज करायी गयी है। श्री राय पर आदतन चोरी करने की धारा 413, चोरी करने की 379,फर्जीवाड़ा के लिए 420 के तहत एफआइआर हुई है।
दिल्ली की कई एजेसिंयों की है अकूत संपत्ति पर नजर, करेगी जांच
कोयले की काली कमाई से अकूत संपत्ति जमा करने वाले पर दिल्ली की कई एजेंसी नजर रखी हुई है। उनकी संपत्ति की जांच भी शुरु होने ही वाली है। राज्य के बाहर कई शहरों में उन्होंने बड़ा इनवेंस्टमेंट कर रखा है, इन सभी चीजों की कुडंली खंगालने में लगेगी।
लाइसेंस रद्द होने के बाद रायजी से धंधा करने वाले की भी खोजबीन
महादेव हार्डकोक प्लांट के कोयले का डीलरशिप का लाइसेंस रद्द होने के बाद भी मैनेजर को कोयला देने वाले पर भी विभाग नजर रखे हुए है। वैसे सभी लोगों को चिह्नित करके वैसे लोगों पर भी कार्रवाई हो सकती है।
कोयले का स्टॉक बढ़ गया 4709.97 घनमीटर
10 सितंबर, 21 को दर्ज कांड संख्या 327/ 2021 में मापी की मात्रा 611090 घनमीटर से 4709.97 घनमीटर अधिक है। इसके अलावा पहले कोयले के ढेर की संख्या उस समय 30 थी जो अभी बढकर 40 हो गयी है।
क्या है प्राथमिकी में
प्राथमिकी में कहा गया है कि 26 अक्टूबर को जांच के लिए जब खनन विभाग के पदाधिकारी पहुंचे तो वहां हार्डकोक सुचारू रूप से चल रहा था 6 ओवन में कोयला लोडकर आग लगी हुई पायी गयी। प्राथमिकी के अनुसार 10 सिंतबर, 21 को जब विभाग के लोग गये थे तो 6110.90घनमीटर अर्थात 7944.17 टन कोयला अवैध रुप से पाया गया था जो 30 ढेर में था । तब इसकी सूची बनाकर मैनेजर राय सहित सभी निदेशको पर केस किया गया था।
अब 26 अक्टूबर को जब जांच करने गये तो वहां ढेरों की संख्या 40 पायी गयी। उक्त कोयले की नापी टाटा स्टीलके सर्वेयर मेहबूब काजमी से करायी गयी । नापी के समय भट्ठा के निदेशक परमेश्वर उर्फ मैनेजर राय मौजूद थे। कोयले का ई चलान जब उनसे मांगा गया तो उन्होंने नहीं दिखाया। इससे साफ जाहिर है अवैध कोयला से भट्ठा का संचालन हो रहा था।