लोकसभा ने विपक्ष के हंगामे के बीच तीन विवादास्पद कृषि कानूनों को निरस्त करने संबंधी कृषि विधि निरसन विधेयक 2021 को बिना चर्चा के ही मंजूरी दे दी गई। किसानों के मुद्दे पर विपक्षी दलों के हंगामे के कारण संसद के शीतकालीन सत्र के पहले दिन सोमवार को लोकसभा की कार्यवाही शुरू होने के करीब 15 मिनट बाद दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई थी।
बता दें कि लोकसभा अध्यक्ष ने जैसे ही प्रश्नकाल की कार्यवाही शुरू करने को कहा, वैसे ही कांग्रेस सहित कुछ दलों के सदस्य अपने स्थान से शोर शराबा करने लगे। शोर शराबे के बीच ही एक प्रश्न को लिया गया । विपक्षी सदस्य ‘किसानों को न्याय दो’ के नारे लगा रहे थे । इस दौरान अध्यक्ष ओम बिरला ने सदस्यों से शांत रहने की अपील करते हुए कहा कि देश की जनता चाहती है कि सदन की कार्यवाही चले, ऐसे में जनता की भावना और सदन की मर्यादा का ध्यान रखें ।
हम चाहते थे कि सदन में चर्चा हो- कांग्रेस: कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कृषि बिल वापसी पर कहा कि, आज कृषि क़ानून निरसन विधेयक बिना चर्चा के लोकसभा में पास किया गया है। हम उसे सपोर्ट करते हैं लेकिन हम चाहते थे कि बिल वापसी पर चर्चा हो कि आखिर इसे वापस लेने में क्यों इतनी देर हुई और दूसरे मुद्दे भी हैं जिन पर चर्चा हो, लेकिन उन्होंने(सत्ता पक्ष ने) टालने की कोशिश की।
राकेश टिकैत ने कहा: कृषि कानूनों की वापसी पर किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा, “जिन 700 किसानों की मृत्यु हुई उनको ही इस बिल के वापस होने का श्रेय जाता है। MSP भी एक बीमारी है। सरकार व्यापारियों को फसलों की लूट की छूट देना चाहती है। आंदोलन जारी रहेगा।”
शोर शराबे में मिली बिल को मंजूरी: कांग्रेस की तरफ से उठाए गए सवाल पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने कहा कि सदन में व्यवस्था नहीं है और इस हालात में चर्चा कैसे करायी जा सकती है। आप (विपक्षी सदस्य) व्यवस्था बनाये तब चर्चा करायी जा सकती है। इसके बाद सदन ने शोर शराबे में भी ही बिना चर्चा के कृषि विधि निरसन विधेयक 2021 को मंजूरी दे दी।
“सरकार चर्चा क्यों नहीं करना चाहती?:” बिल वापसी को लेकर कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि आज सदन में नियमों की धज्जियां उड़ाई जा रही है। इस विधेयक को चर्चा एवं पारित होने के लिये रखे जाने की बात कही गई लेकिन इस पर सरकार चर्चा क्यों नहीं करना चाहती है। इस बीच कई अन्य विपक्षी सदस्यों को भी कुछ कहते देखा गया लेकिन शोर शराबे में उनकी बात नहीं सुनी जा सकी।
लोकसभा में कृषि कानून वापसी बिल पास: लोकसभा ने विपक्ष के हंगामे के बीच तीन विवादास्पद कृषि कानूनों को निरस्त करने संबंधी कृषि विधि निरसन विधेयक 2021 को बिना चर्चा के ही मंजूरी दी। इसके साथ ही कृषि कानून वापसी बिल संसद के निचले सदन लोकसभा से पास हो चुका है। वहीं लोकसभा को आज दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित किया गया।
प्रियंका गांधी ने ट्वीट कर कही ये बात: कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा ने ट्वीट कर कहा, ‘‘आज सड़कों पर हमारे अन्नदाताओं द्वारा किए संघर्ष की जीत की गूंज संसद में होगी। आज एक बार फिर किसान आंदोलन में शहीद हुए 700 किसानों की, लखीमपुर के किसानों की शहादत को याद करने का दिन है। आज जब संसद में तीनों कृषि कानून वापस लिए जाएंगे तब पूरा देश एक साथ ‘जय किसान’ बोलेगा और अन्नदाताओं को नमन करेगा।’’
लोकसभा दोपहर 12 बजे तक के लिए हुई स्थगित: किसानों के मुद्दे पर विपक्षी दलों के हंगामे के कारण संसद के शीतकालीन सत्र के पहले दिन सोमवार को लोकसभा की कार्यवाही शुरू होने के करीब 15 मिनट बाद दोपहर 12 बजे तक के लिये स्थगित ।
संसद का शीतकालीन सत्र दोनों सदनों में शुरू: सरकार की तरफ से इस सत्र में कई बिल पेश किये जाएंगे। जिसमें कृषि कानून वापसी भी शामिल हैं। जिसके लिए किसान संगठन पिछले एक साल से प्रदर्शन कर रहे हैं।
महात्मा गांधी की प्रतिमा के पास विरोध प्रदर्शन: कांग्रेस सांसदों ने संसद में किसानों के मुद्दे को लेकर राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की प्रतिमा के पास विरोध प्रदर्शन किया। संसद भवन परिसर में प्रदर्शन के दौरान सरकार विरोधी नारे भी लगाए गये। इस मौके पर पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी भी मौजूद थे। कांग्रेस सांसदों ने तीनों कानूनों को तत्काल निरस्त करने और न्यूनतम समर्थन मूल्य की कानूनी गारंटी देने की मांग की।
संसद में सकारात्मक कार्यों पर जोर : पीएम मोदी ने कहा कि मैं आशा करता हूं कि भविष्य में संसद को कैसा चलाया, कितना अच्छा योगदान रहा इस तराजू में तोला जाए न कि किसने कितना जोर लगाकर संसद के सत्र को रोक दिया। मानदंड ये होगा कि संसद में कितने घंटे काम हुआ कितना सकारात्मक काम हुआ।
कोरोना के नए वैरिएंट को लेकर रहें सजग: प्रधानमंत्री ने कोरोना के नए वैरिएंट और टीकाकरण को लेकर कहा कि 100 करोड़ से अधिक डोज़ कोविड वैक्सीन की पूरी करने के बाद अब हम 150 करोड़ डोज़ की तरफ तेज़ी से बढ़ रहे हैं। नए वेरिएंट की ख़बरें भी हमें ओर सजग करती हैं, मैं संसद के सभी साथियों को भी सजग रहने की प्रार्थना करता हूं।
संसद की गरिमा को लेकर बोले पीएम मोदी: पीएम ने कहा, “आज़ादी के अमृत महोत्सव में हम ये भी चाहेंगे कि संसद में सवाल भी हो, संसद में शांति भी हो। सरकार की नीतियों के खिलाफ जितनी आवाज़ प्रखर होनी चाहिए हो परन्तु संसद की गरिमा, अध्यक्ष की गरिमा के विषय में हम वो आचरण करें जो आने वाले दिनों में देश की युवा पीढ़ी के काम आए।”