पुलिस लाठीचार्ज में ही हुई थी भाजपा कार्यकर्ता विजय सिंह की मौत! चश्मदीद ने बताई हादसे की सच्चाई

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बीजेपी नेताओं द्वारा बिहार की राजधानी पटना में विधान सभा मार्च के दौरान को पुलिस लाठीचार्ज में मारे गए कार्यकर्ता विजय सिंह की मौत के बात यहां की राजनीति में काफी उबाल है। इस मुद्दे पर सत्ता पक्ष और विपक्ष आमने-सामने है। कल विजय सिंह का अंतिम संस्कार हुआ इसमें बिहार भाजपा के सभी बड़े नेता शामिल हुए। इसी क्रम में विजय सिंह के साथ पटना मार्च में गए उनके साथी भरत प्रसाद चंद्रवंशी के बयान को लेकर सत्ताधारी दल राजद और जदयू के नेता सोशल मीडिया में उसे शेयर कर रहे हैं और यह दिखाने की कोशिश कर रहे हैं कि भाजपा कार्यकर्ता विजय सिंह की मौत पुलिस लाठीचार्ज से नहीं बल्कि अन्य वजहों से हुई है। लेकिन अब भरत चंद्रवंशी अपने बयान से पलट गए हैं जिससे इस मामले में ट्विस्ट आ गया है।

अपने बयान से पलटे भरत

विजय सिंह की मौत पर भरत प्रसाद चंद्रवंशी ने पहले कहा था कि उनकी मौत भगदड़ में गिरने के वजह से हुई थी, लेकिन जहानाबाद आते-आते उन्होंने अपना बयान बदल दिया। भरत प्रसाद का कहना है कि उनका पहला बयान हड़बड़ी में दिया गया था। शुक्रवार की शाम जब मीडिया के लोग उनके घर बात करने पहुंचे तो भरत प्रसाद चंद्रवंशी ने कहा कि सच्चाई यही है कि उन्हें पुलिस की लाठी से चोट लगी थी और चोट लगने के बाद ही वह बेसुध हो कर गिरे थे।

भरत चंद्रवंशी ने बताया कि वह और विजय अपने साथ 10-12 कार्यकर्ताओं को लेकर पटना के प्रदर्शन में शामिल होने गए थे। जैसे ही वे गांधी मैदान के पास पहुंचे तो वहां पुलिस ने लाठीचार्ज शुरू कर दिया। इसके बाद वहां मौजूद कार्यकर्ताओं में भगदड़ मच गई। इसी क्रम में विजय सिंह के सिर में चोट लगी और वे गिर पड़े।

इसके बाद विजय सिंह को रिक्शा से तारा हॉस्पिटल ले जाया गया, जहां उन्हें एक मशीन पर चढ़ाया गया। लेकिन, वहां मौजूद अस्पताल के कर्मचारी ने कुछ देर बार बताया कि अब ये नहीं रहे, जिसके बाद इसकी जानकारी अपने कार्यकर्ता को दी। फिर वहां से उन्हें उसी अवस्था में पीएमसीएच ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया।

मौत पर सियासत से भारी नाराजगी

जहानाबाद से बीजेपी के जिला सचिव विजय सिंह की मौत पर पूरे बिहार में सियासत हो रही है तो दूसरी तरफ उनके परिजन और ग्रामीण हो रहे से बयानबाजी पर दुख जता रहे हैं। विजय के छोटे भाई कमल किशोर और सुनील ने कहा कि उनके भाई की मौत रैली के दौरान भगदड़ में हुई तो फिर इससे इनकार करने की वजह समझ में नहीं आता।

बता दें कि जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह और राजद के कई बड़े नेता विजय सिंह की मौत पुलिस लाठीचार्ज में होने से इनकार कर रहे है। इस मामले को लेकर भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने 4 नेताओं की एक टीम गठित की है जो इस मामले की जांच करेंगे।

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