दिल्ली के विभिन्न हिस्सों में गुरुवार (12 मई, 2022) को अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई की गई। एमसीडी ने इसके तहत रोहिणी इलाके में बुलडोजर चलाया, जबकि मदरनपुर खादर में एक्शन को लेकर कथित तौर पर हंगामा हो गया।
स्थानीयों ने इस दौरान निगम के कदम का विरोध किया और पत्रकारों को अपना दर्द बयां करते हुए कहा कि एमसीडी को अचानक यहां कार्रवाई की याद क्यों आ गई? हम तो 25-30 साल से यहां रह रहे हैं। ऐसे में पहले कहां थी, आखिर अब एक्शन क्यों ले रही है? यही नहीं, कई लोगों ने इस दौरान “दिल्ली पुलिस हाय-हाय” के नारे भी लगाए।
निगम के एक्शन के दौरान मौके पर आम आदमी पार्टी (आप) के विधायक अमानतुल्लाह खान भी मौजूद रहे। उन्होंने मीडिया को बताया, “अगर गरीबों के घर बच जाते हैं, तो मैं जेल जाने को भी तैयार हूं। यहां पर किसी प्रकार का अतिक्रमण नहीं किया गया है। अगर यहां पर किसी प्रकार का अवैध निर्माण या फिर अतिक्रमण किया गया है तब मैं इन्हें तोड़े जाने का समर्थन करूंगा।”
दिल्ली में इससे एक दिन पहले यानी बुधवार (11 मई, 2022) को नजफगढ़, द्वारका, लोधी कॉलोनी में अतिक्रमण रोधी अभियान चलाया गया था। अवैध निर्माण हटाने के लिए बुलडोजर चलते रहे और काम पर तैनात कर्मचारियों और पुलिसकर्मियों को कुछ स्थानों पर स्थानीय लोगों के कड़े विरोध का सामना करना पड़ा।
पूर्वी दिल्ली के महापौर श्याम सुंदर अग्रवाल ने पत्रकारों को बताया कि सीलमपुर में पुलिस बल की कमी के कारण पूर्वी दिल्ली नगर निगम की तरफ से नियोजित अभियान बुधवार को शुरू नहीं हो सका।
एक दिन पहले ही दक्षिण दिल्ली नगर निगम ने न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी में अवैध अस्थायी इमारतों को हटाने और कुछ दीवारों को गिराने के लिए एक अभियान चलाया था। उत्तर दिल्ली नगर निगम ने भी मंगोलपुरी इलाके में अतिक्रमण रोधी अभियान चलाया था।
उधर, विभिन्न वामपंथी संगठनों ने दिल्ली में भारतीय जनता पार्टी के नेतृत्व वाले नगर निगमों द्वारा चलाए जा रहे अतिक्रमण रोधी अभियान के विरोध में उपराज्यपाल आवास तक एक मार्च निकाला। यह मार्च कश्मीरी गेट से शुरू हुआ और बैजल के आवास की ओर बढ़ रहा था जब पुलिस ने उसे रोक दिया था। अधिकारियों ने बताया कि योजना के तहत निगम के चारों क्षेत्रों में कार्रवाई की गई।