दिल्ली में Uber-Rapido की बाइक अब नहीं चलने वाली हैं। सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली हाई कोर्ट के उस आदेश पर रोक लगा दी है जिसमें कहा गया था कि फाइनल पॉलिसी बनाने तक राजधानी में Uber-Rapido की बाइक चलने की अनुमति रहेगी।
दिल्ली वालों को बड़ा झटका
जानकारी के लिए बता दें कि दिल्ली हाई कोर्ट ने अपने आदेश से रैपिडो और उबर बाइक टैक्सी वालों को बड़ी राहत दी थी। आदेश में दिल्ली हाई कोर्ट ने कहा था कि जब तक सरकार मोटर वाहन अधिनियम के तहत अपने नए नियमों को अधिसूचित नहीं कर देती, तब तक बाइक टैक्सी एग्रीगेटर्स के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जाएगी। सरल शब्दों में इस आदेश का मतलब ये था कि दिल्ली में उबर-रैपिडो की बाइक टैक्सी जारी रहेगी। लेकिन तब हाई कोर्ट के इस आदेश को केजरीवाल सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी।
हाई कोर्ट का आदेश क्या था?
अब उसी चुनौती के बाद सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई जहां हाई कोर्ट के आदेश को ही पलट दिया गया। उबर के वकील ने सुप्रीम कोर्ट में तर्क जरूर दिया कि कई ड्राइवरों की आजीविका इस पर निर्भर करती है, लेकिन कोर्ट ने इन तर्कों पर ज्यादा ध्यान नहीं दिया। वैसे सुनवाई के दौरान उबर के वकील ने कई नियमों का हवाला दिया था। यहां तक कहा गया था कि कई राज्यों में पहले से दोपहिया वाहन का इस्तेमाल बाइक सर्विस के तौर पर हो रहा है, मोटर वीकल एक्ट में भी किसी तरह के बैन का जिक्र नहीं किया गया है।
दिल्ली सरकार क्या चाहती है?
लेकिन इन सभी तर्कों के बावजूद भी उबर-रैपिडो को बड़ा झटका लगा है। ये झटका इसलिए भी मायने रखता है क्योंकि रोज के हजारो लोग इसकी सवारी करते हैं। ऐसे में उनके लिए ये भी ये फैसला कई तरह की असुविधा लेकर आएगा। यहां ये समझना जरूरी है कि दिल्ली सरकार ने इस साल 19 फरवरी को एक पब्लिक नोटिस जारी किया था। उस नोटिस में कहा गया था कि जब तक पॉलिसी तैयार नहीं हो जाती, दिल्ली में बाइक टैक्सी नहीं चलेगी। इस फैसले को हाई कोर्ट में चुनौती दी गई जहां से राहत मिली। लेकिन अब सुप्रीम कोर्ट ने उस आदेश को ही पलट दिया है।