बड़कागांव। बड़कागांव प्रखंड के सभी आंगनबाड़ी केंद्र के सेविकाओं द्वारा कोविड-19 कार्यकाल के दौरान विगत 11 महीनों से निजी राशि से राशन क्रेय कर 3 से 6 माह के लाभुकों के बीच होम राशन वितरण कर रही है। इसके अलावा सेविकाओं को विगत 6 माह से मानदेय नहीं मिलने के कारण आर्थिक आर्थिक संकट उत्पन्न हो गई है।
इस संबंध में सेविकाओं द्वारा एक बैठक कर प्रस्ताव पारित किया गया कि अब निजी राशि खर्च करने के लिए वे लोग सक्षम नहीं है। इसलिए अगस्त माह से लाभुकों के बीच राशन का वितरण करने में भी सक्षम नहीं हैं। सेविकाओं ने कहा कि जब तक विभाग के द्वारा राशि का भुगतान नहीं होता है तब तक लाभुकों के बीच राशन का वितरण नहीं किया जाएगा।
सेविकाओं ने आगे कहा कि विभाग के द्वारा मोबाइल देने का प्रावधान की गई है। लेकिन आज तक किसी भी सेविका को मोबाइल नहीं मिला है, बावजूद निजी मोबाइल में प्रत्येक माह ₹250 का नेट रिचार्ज कर फैशन ट्रैकर एप में गर्भवती, धात्री, छोटे बच्चे का नाम ऑनलाइन कर रही हूं। दारुडा ऐप फॉर्म 6,7,8 ऑनलाइन करती हूं लेकिन विभाग के द्वारा राशि का भुगतान नहीं किया जा रहा है।
विभाग से सिर्फ और सिर्फ आश्वासन मिलता है पैसा नहीं। सेविकाओं ने कहा है कि जिले के अन्य प्रखंडों में सेविकाओं का मानदेय एवं राशन वितरण राशि का भुगतान किया गया है लेकिन बड़कागांव प्रखंड के विभाग के वरीय अधिकारियों की लापरवाही के कारण इस प्रखंड के सेविकाओं को वंचित रखते हुए सेविकाओं को कोप भाजन बनना पड़ रहा है। उक्त आशय की जानकारी बड़कागांव सेविका संघ के अध्यक्ष मालती कुमारी ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर दी।