चतरा पुलिस ने बिहार का नक्सल आतंक का झारखंड में पटाक्षेप करते हुए 7 बड़े नक्सली को गिरफ्तार किया है। एसपी राकेश रंजन को मिली गुप्त सूचना के आधार पर सिमरिया एसडीपीओ अशोक प्रियदर्शी, सीआरपीएफ 22 बटालियन के द्वितीय कमान अधिकारी ब्रजेश कुमार व सहायक कमांडेंट दुर्गेश कुमार के संयुक्त नेतृत्व में गठित पुलिस की विशेष टीम ने पूर्व माओवादी सब जोनल कमांडर रामराज उर्फ नायक समेत सात नक्सलियों को पकड़ा है.
नक्सलियों की गिरफ्तारी सिमरिया थाना क्षेत्र के टूटकी जंगल इलाके से हुई है। गिरफ्तार नक्सलियों के पास से सुरक्षाबलों ने एक एम 01 गैंड रायफल, एक 7.62 एमएम का एसएलआर रायफल, एक 9 एमएम अमेरिकन स्टेनगन, एक देशी भराठी बंदूक, एक दो नाली सिंगल शॉट देशी कट्टा, एक एम 01 गैंड रायफल का जिंदा कारतूस, एसएलआर का 61 राउंड कारतूस, 9 एमएम का 38 जिंदा राउंड, 3.15 बोर का 5 जिंदा गोली व स्टेनगन 09 एमएम का मैगजीन बरामद किया है। दस्ते में शामिल नक्सली हथियार के बल पर लोगों में भय पैदा करते हुए लेवी का पैसा लेने की भी योजना बना रहे हैं।
सूचना पर त्वरित कार्रवाई करते हुए सिमरिया एसडीपीओ और सीआरपीएफ के अधिकारियों के संयुक्त नेतृत्व में सिमरिया पुलिस और सशस्त्र बल के जवानों की टीम बनाकर अभियान चलाने का निर्देश दिया गया था। अभियान के दौरान ही टूटकी जंगल में नाकाबंदी करते हुए जवानों ने एंबुश किया था। इसी दौरान सब जोनल कमांडर समेत सात नक्सलियों को दबोचा गया है।
एसपी ने बताया कि गिरफ्तार सब जोनल कमांडर वर्ष 1997 से 2010 तक बिहार के अलग-अलग जिलों में माओवादी सब जोनल कमांडर के पद पर काम कर रहा था। इस दौरान उसने अपने दस्ते के साथ कई बड़ी घटनाओं को अंजाम दिया था। इसके बाद वर्ष 2015 से TSPC संगठन के सब जोनल कमांडर अविनाश उर्फ विकास के जेल जाने के बाद वह चतरा हजारीबाग और पलामू जिले में सब जोनल कमांडर के नाम से लेवी एवं रंगदारी वसूली के उद्देश्य भ्रमण शील था।